Tuesday, October 13, 2015

गंगा आरती में नये भगवान के अवतार ---------- 13-10-15

अपना शहर
साईत खराब --- जुठनालय

गंगा आरती में नये भगवान के अवतार ----------
आज सुबह जुठनालय बैठा था चाय पीने तभी संजय ने पूछा कब आये कल आप हमने बोला भाई रात के तब मैं बोल पड़ा गिरीश बाबा सच कहत रहने यार संजय बाबू खाली चर्चा कये देहले पे इह हाल अगर देख लेबा त का होई अब देखा परसों उ मगरुवा भी अपने बिटिया के लेके गएल रहे बनारस गंगा आरती देखावे अउर इम्तहान कराके लौट आई इहा से जात के सरवा लालगंज में बस के गेयर खराब हो गइल अब उ कंडेक्टर सर्व हमहने के पलटी मरलस दुसरे बस में फ़िलहाल पहुच गईनी ब्व्नारस ओकरे बाद टैम्पू से दशास्वमेध घाट पर उहा देखनी एक चबूतरा झक्क सफेद कुरता - धोती पहिनले छिनरो कजे ईगो पांडा बैठल बा मगरुवा पहुच गईल चबूतरा पे लगल चढ़े सर्व वही से बोलत ह इहा बैठे के खातिर गंगा मइया के पूजा करे के पड़ी अउर दक्षिना चढावे के पड़ी हमऊ भाई न बिटिया के बैठा देहनी अउर लगनी घाट के तरफ देखे सरवा इहा भी झोल बा सब मल्लाह सब नाव लगाके गंगा आरती के मछरी फंसाव थे और उ बबवा सरवा जोह: थ विदेशी पर्यटक कुछ देर बाद कुछ पर्यटक ओकरे चबूतरा पर चढने सर्व कहत ह ओपन यु शु और गिव टेन रूपी पूजा गंगा मैया ओकरे बात पर कउनो पर्यटक ध्यान न देत रहने तब्बे पीछे से एक ठउरा बोललस ऐ सारन से दस ठे कहे कहत हउआ सारन से पचास ठे बोला ओकरे बाद पाण्डवा सरवा जबरदस्ती करे लागल की गिव फिफ्टी रुपया तबले गंगा आरती शुरू हो गएल आरती भाव - विभोर करे वाला रहे पर आरती के आखरी में जब सब देवतन के जयकारा बोलल गएल वही में एक ठे नया भगवान के जोड़ देवल गएल ह यह समय बोली मुरारी बापू की जय का संजय बाऊ इ कौनो नया भगवान आयेल बाने का ------------- लौट्ले के गति इहु से ज्यादा भइल |

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